Newz Studio

ख़बर उत्तराखंड की

बच्‍चों को एकीकृत और समग्र शिक्षा देने का उपराष्ट्रपति का आह्वान

1 min read
उपराष्‍ट्रपति ने शिक्षकों से कहा कि वे वर्तमान शिक्षा प्रणाली को ऊंचे स्‍तर पर ले जाकर कक्षाओं को अध्‍ययन  केन्‍द्र के रूप में बदलने के लिए स्‍वयं को फिर से समर्पित करें।

बच्‍चों को एकीकृत और समग्र शिक्षा देने का उपराष्ट्रपति का आह्वान

प्रेस इनफार्मेशन ब्यूरो 

ख़ास बात

  • आदर्श शिक्षक बनना डॉ राधाकृष्‍णनन को सच्‍ची श्रद्धांजलि: उपराष्‍ट्रपति
  • बच्‍चों को देश की समृद्ध विरासत, परम्‍पराओं और गौरवशाली इतिहास के प्रति जागरूक‍ बनाना चाहिए: वेंकैया नायडू 
  • शिक्षा के  साथ-साथ शारीरिक शिक्षा को  प्रोत्‍साहित करना चाहिए।

नई दिल्‍ली: उपराष्‍ट्रपति एम वेंकैया नायडू ने बच्‍चों को एकीकृत और समग्र शिक्षा देने का आह्वान किया है। उन्होनें शिक्षकों को राष्‍ट्रीय विकास का निर्माता बताते हुए शिक्षकों को सलाह दी कि वे बच्‍चों में लोकतंत्र, समानता, स्‍वतंत्रता, न्‍याय, धर्मनिरपेक्षता, दूसरों की भलाई की चिंता, मानव सम्‍मान और मानव अधिकारों के मूल्‍यों को बतायें।

श्री नायडू आज नई दिल्‍ली में शिक्षक दिवस के अवसर पर दिल्‍ली तमिल एजुकेशन एसोसिएशन के विद्यालयों के शिक्षकों को सम्‍बोधित कर रहे थे। उन्‍होंने कहा कि आदर्श शिक्षक के रूप में व्‍यवहार ही भारत के प्रथम उप राष्‍ट्रपति डॉ सर्वपल्‍ली राधाकृष्‍णन को सही श्रद्धांजलि  होगी।

उपराष्‍ट्रपति ने शिक्षकों से कहा कि वे वर्तमान शिक्षा प्रणाली को ऊंचे स्‍तर पर ले जाकर कक्षाओं को अध्‍ययन  केन्‍द्र के रूप में बदलने के लिए स्‍वयं को फिर से समर्पित करें। उन्‍होंने कहा कि वे कक्षाओं में बच्‍चों से बातचीत करते समय उनका मनोभाव, उनकी मजबूतियों और कमजोरियों को समझें ।

बच्‍चों को देश की समृद्ध विरासत, पराम्‍पराओं और गौरवशाली इतिहास के प्रति जागरूक बनाने की आवश्‍यकता पर बल देते हुए श्री नायडू ने कहा कि पाठयपुस्‍तकों में स्‍वतंत्रता सेनानियों, जाने-माने वैज्ञानिकों और कलाकारों के बारे में अध्‍याय में शामिल करना चाहिए ताकि बच्‍चे प्रेरित हों।

पाठ्यक्रमों में सतत विकास, प्रकृति के साथ सहवास को शामिल किया जाना चाहिए और बच्‍चों को स्‍वच्‍छ भारत तथा अन्‍य जनांदोलनों के प्रति जागरूक बनाया जाना चाहिए, उन्होनें कहा।

श्री नायडू ने कहा कि शिक्षा के साथ-साथ शारीरिक शिक्षा को प्रोत्‍साहित करना आवश्‍यक है। उन्‍होंने कहा कि बच्‍चों  को खेलकूद और योग के प्रति प्रोत्‍साहित करना चाहिए ताकि वे तंदुरूस्‍त  और स्‍वस्‍थ रहें।

मातृ भाषा के महत्‍व  की चर्चा करते हुए शिक्षकों और अभिभावकों से आग्रह करते हुए उपराष्‍ट्रपति ने कहा कि बच्चों को घरों में मातृभाषा में बोलने के लिए प्रोत्‍साहित करें। उन्‍होंने कहा कि प्राथमिक स्‍कूल स्‍तर पर शिक्षा का माध्‍यम मातृभाषा होनी चाहिए।

श्री वेंकैया नायडू ने कहा कि देश को योग्‍य, विश्‍वास और संकल्‍पबद्ध शिक्षकों की आवश्‍यकता है ताकि शिक्षा में अंतर लाया जा सके। उन्‍होंने कहा कि शिक्षकों के पास अपने ज्ञान, मनोवृत्ति और व्‍यवहार के माध्‍यम से जीवंत राष्‍ट्र की आधारशिला रखने का विशिष्‍ट अवसर है।